समय का सदुपयोग

पुरुषोत्तम विधानी

गया हुआ धन मेहनत करने से फिर मिल सकता है पर गया हुआ समय नहीं।संसार में जितने प्रसिद्ध विद्वान हुए हैं, उनकी सफलता की कुंजी वास्तव में उनके समय के प्रत्येक क्षण के सदुपयोग में ही है।एक समय पर एक ही काम करो पर उसे उचित और नियत समय पर करें।हमें आत्मनिरीक्षण करके देखते रहना चाहिए कि हम अपने प्रतिदिन के समय का सदुपयोग कर रहे हैं या नहीं।समय के सही नियोजन के लिए योजनाबद्ध तरीके से काम करना चाहिए और समय सारिणी बनाना चाहिए।प्राथमिकता के आधार पर काम करना चाहिए।

हमें हमारा लक्ष्य स्पष्ट होना चाहिए।नियमितता और निरंतरता से बड़े बड़े काम सहज और सरल हो जाते हैं।कार्य कठिन या बहुत बड़ा हो तो उसे छोटे छोटे हिस्सों में तोड़कर करें।एक कार्य में थकने पर विश्राम के लिए दूसरा रुचिकर काम हाथ में लें।आलस्य और दिघ्रसूत्रता को त्यागें।उत्साह बनाए रखें, चुस्त दुरुस्त रहें।

 अंग्रेजी में एक कहावत है.: Hit the iron while it is hot. अर्थात सही समय पर चोट करें,; परफेक्शन के चक्कर में अवसर न चुकें।

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